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दूसरों के अनुभव से लाभ उठाने वाला बुद्धिमान् है।
By Pandit Shriram Sharma Acharya
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जीवन का हर क्षण उज्ज्वल भविष्य की संभावना लेकर आता है।
By Pandit Shriram Sharma Acharya
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शान्तिकुञ्ज एक क्रान्तिकारी विश्वविद्यालय है। अनौचित्य की नींव हिला देने वाली यह संस्था प्रभाव पर्त की एक नवोदित किरण है।
By Pandit Shriram Sharma Acharya
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अध्यात्मवाद, जीवन का वह तत्त्वज्ञान है, जिसके ऊपर हमारी भीतरी और बाहरी उन्नति, समृद्धि एवं सुख- शान्ति निर्भर है।
By Pandit Shriram Sharma Acharya
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आनन्द की
गंगोत्री
अपने भीतर है।
By Pandit Shriram Sharma Acharya
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वे माता- पिता धन्य हैं, जो अपनी संतान के लिए उत्तम पुस्तकों का एक संग्रह छोड़ जाते हैं।
By Pandit Shriram Sharma Acharya
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नर और नारी एक सम्मान, जाति- वंश सब एक समान।
By Pandit Shriram Sharma Acharya
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आत्म निर्माण का ही दूसरा नाम भाग्य निर्माण है।
By Pandit Shriram Sharma Acharya
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धर्म
में से
दुराग्रह
और पाखण्ड को निकाल दो। वह अकेला ही संसार को स्वर्ग बनाने में समर्थ है।
By Pandit Shriram Sharma Acharya
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नारी का असली शृंगार, सादा जीवन- उच्च विचार।
By Pandit Shriram Sharma Acharya
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भगवान् उन्हें ही सर्वाधिक प्यार करते हैं, जो तप- साधना की आत्म- प्रवंचना में न डूबे रहकर सेवा- साधना को सर्वोपरि मानते हैं।
By Pandit Shriram Sharma Acharya
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बढ़ते जिससे मनोविकार, ऐसी कला नरक का द्वार।
By Pandit Shriram Sharma Acharya
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